Lok Chand Gupta
Published: Oct 7 | Updated: Oct 7

44वें भारतीय अंतर्राष्ट्रीय व्यापार मेले (आईआईटीएफ) का आयोजन नई दिल्ली के भारत मंडपम में किया जाएगा। यह भारत के सबसे बड़े व्यापार मेलों में से एक है, जिसे भारत व्यापार संवर्धन संगठन (आईटीपीओ) द्वारा आयोजित किया जाता है।

आईआईटीएफ 2025 : विस्तृत विवरण

  • थीम: “एक भारत, श्रेष्ठ भारत”
    • यह थीम भारत की एकता, विविधता और आर्थिक विकास को दर्शाती है। यह देश की सांस्कृतिक और आर्थिक प्रगति को एक मंच पर लाने का प्रयास करता है।
  • स्थल: भारत मंडपम, प्रगति मैदान, नई दिल्ली।
  • तिथि: 14 से 27 नवंबर 2025
  • आयोजक: इंडिया ट्रेड प्रमोशन ऑर्गनाइजेशन (ITPO)
  • पार्टनर राज्य: राजस्थान
  • कार्यक्रम:
    • बिजनेस-टू-बिजनेस (B2B): 14 से 19 नवंबर तक का समय विशेष रूप से व्यावसायिक प्रतिनिधियों के लिए आरक्षित है, जिससे वे आपस में व्यापारिक संबंध स्थापित कर सकें।
    • बिजनेस-टू-कंज्यूमर (B2C): 20 से 27 नवंबर तक यह मेला आम जनता के लिए खुला रहेगा, जहाँ वे विभिन्न उत्पादों की खरीदारी कर सकते हैं।

मेले में क्या है खास?

  • उत्पाद प्रदर्शन: इस मेले में विभिन्न क्षेत्रों के उत्पादों और सेवाओं की एक विस्तृत श्रृंखला प्रदर्शित की जाती है, जिसमें इलेक्ट्रॉनिक्स, वस्त्र, खाद्य और पेय पदार्थ, मशीनरी, हस्तशिल्प और लाइफस्टाइल से जुड़े उत्पाद शामिल हैं।
  • MSME  को बढ़ावा: आईआईटीएफ 2025 में सूक्ष्म, लघु और मध्यम उद्यमों (MSME ) को अपने उत्पादों और नवाचारों को प्रदर्शित करने का एक सुनहरा अवसर मिलेगा, जिससे उन्हें राष्ट्रीय और अंतरराष्ट्रीय बाजारों से जुड़ने में मदद मिलेगी।
  • अंतरराष्ट्रीय भागीदारी: भारत के सभी राज्यों और केंद्र शासित प्रदेशों के अलावा, कई विदेशी देशों की कंपनियाँ और व्यापारिक संगठन भी इस मेले में हिस्सा लेते हैं, जिससे यह वैश्विक व्यापार के आदान-प्रदान का केंद्र बनता है।
  • डिजिटल इंडिया का प्रदर्शन: यह आयोजन ‘डिजिटल इंडिया’ की प्रगति को भी दर्शाता है, जहाँ आधुनिक तकनीकों और डिजिटल उत्पादों को भी प्रदर्शित किया जाएगा।

महत्व और प्रभाव:

  • व्यापारिक अवसर: यह मेला व्यवसायों के लिए नए ग्राहक खोजने, व्यापारिक साझेदारी बनाने और बाजार के रुझानों को समझने का एक महत्वपूर्ण मंच है।
  • आर्थिक विकास: यह आयोजन भारतीय उद्योगों, विशेष रूप से टरटए क्षेत्र के विकास को बढ़ावा देता है, जिससे रोजगार के अवसर पैदा होते हैं और अर्थव्यवस्था को मजबूती मिलती है।
  • भारत की वैश्विक पहचान: यह मेला भारत की बढ़ती आर्थिक शक्ति और वैश्विक व्यापार में इसकी भूमिका को उजागर करता है, जिससे भारत की अंतरराष्ट्रीय छवि बेहतर होती है।

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